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(as of Aug 29, 2024 02:26:24 UTC – Details)
देवियांण एवं हरिरस महात्मा ईसरदास बारहट की अमर रचनाएँ हैं। भक्त-कवि ईसरदास की मान्यता राजस्थान एवं गुजरात में एक महान संत के रूप में रही है। इनका जन्म बाडमेर (राजस्थान) के भादरेस गाँव में वि. सं. 1515 में हुआ था। पिता सुराजी रोहड़िया शाखा के चारण थे एवं भगवान् श्री कृष्णके परम उपासक थे। जन मानस में भक्त कवि ईसरदास का नाम बडी श्रद्घा और आस्था से लिया जाता है। इनके जन्मस्थल भादरेस में भव्य मन्दिर इसका प्रमाण हैं, जहॉ प्रति वर्ष बडा मेला लगता हैं। Deviyan Isardas Pranit also ईसरदास प्रणीत भक्ति रचनाओं में हरिरस, बाल लीला, छोटा हरिरस, गुण भागवतहंस, देवियांण, रास कैला, सभा पर्व, गरूड पुराण, गुण आगम, दाण लीला प्रमुख हैं। भक्ति साहित्य में ‘हरिरस’ सर्वाधिक चर्चित एवं अतुल्य कृति है जिसका राजस्थान, गुजरात एवं मालवा (मध्य प्रदेश) में असंख्य भक्तों द्वारा नित्य पाठ किया जाता है। Deviyan Isardas Pranit
Publisher : Rajasthani Granthagar (1 January 2023)
Language : Hindi
Hardcover : 48 pages
ISBN-10 : 9394649514
ISBN-13 : 978-9394649514
Reading age : 3 years and up
Item Weight : 200 g
Dimensions : 16 x 1.5 x 21 cm
Country of Origin : India